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राजस्थान फाउंडेशन की नॉलेज सीरीज़ का दूसरा एपिसोड: राजस्थान इन्वेस्टमेंट प्रमोशन स्कीम (RIPS 2024) पर संवाद, RIPS 2024 - प्रवासी राजस्थानियों के लिए निवेश की नई राह
जयपुर, 24 जुलाई। राजस्थान फाउंडेशन ने ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टमेंट प्रमोशन (बीआईपी) के सहयोग से राजस्थान फाउंडेशन की नॉलेज सीरीज के दूसरे एपिसोड के तहत ‘राजस्थान इन्वेस्टमेंट प्रमोशन स्कीम (RIPS) 2024’ पर एक विशेष वर्चुअल सत्र का आयोजन किया। यह संवाद प्रवासी राजस्थानियों को ध्यान में रखते हुए आयोजित किया गया, जिसमें भारत सहित अमेरिका, यूएई, जर्मनी, ऑस्ट्रेलिया, केन्या, युगांडा, सिंगापुर, जापान जैसे देशों से प्रवासी उद्यमियों व निवेशकों ने भागीदारी की। इस संवाद का मुख्य उद्देश्य प्रवासी निवेशकों को राजस्थान सरकार की फ्लैगशिप निवेश प्रोत्साहन योजना RIPS 2024 के तहत मिलने वाले लाभों व प्रावधानों से अवगत कराना था। सत्र के दौरान राजस्थान फाउंडेशन की आयुक्त डॉ. मनीषा अरोड़ा, बीआईपी के आयुक्त श्री सुरेश ओला व अन्य अधिकारी मौजूद रहे। इस योजना के तहत किए गए निवेश पर सब्सिडी, टैक्स छूट, भूमि आवंटन में प्रोत्साहन, बिजली दरों में रियायतें और सिंगल विंडो सिस्टम जैसे कई महत्वपूर्ण प्रावधान शामिल हैं। इनकी जानकारी प्रेज़ेंटेशन के माध्यम से सभी प्रतिभागियों को दी गई। सत्र में यह भी बताया गया कि इस योजना में स्टार्टअप्स, एमएसएमई, महिला व युवा उद्यमियों के लिए अतिरिक्त लाभों के साथ-साथ टेक्सटाइल, आईटी, रिन्यूएबल एनर्जी, सेरेमिक्स, एग्रो-फूड प्रोसेसिंग और अन्य सनराइज़ सेक्टर्स को प्राथमिकता दी गई है। यह सत्र प्रवासी राजस्थानियों के लिए निवेश के नए द्वार खोलने और उन्हें राज्य की आर्थिक प्रगति में भागीदार बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल के रूप में देखा गया। राज्य के “राजनिवेश पोर्टल” के बारे में भी संक्षिप्त जानकारी दी गई। यह पोर्टल उद्योगों से जुड़ी सभी जानकारियाँ, अनुमोदन प्रक्रियाएँ और आवश्यक सहायता एक ही स्थान पर उपलब्ध कराता है। इस पोर्टल पर एमओयू (MOU) के लिए आवेदन करने की सुविधा भी दी गई है। इसी पहल के माध्यम से राज्य सरकार ने अब तक ₹35 लाख करोड़ मूल्य के एमओयू साइन किए हैं। वर्चुअल सत्र के दौरान RIPS 2024 के अंतर्गत MSME और मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स से संबंधित कई महत्वपूर्ण प्रश्न उठाए गए, जिनमें पात्रता, विस्तार निवेश की शर्तें, केंद्रीय व राज्य योजनाओं के साथ समन्वय, क्लस्टर इंसेंटिव, निजी औद्योगिक क्षेत्रों में निवेश, आवेदन प्रक्रिया और प्रोत्साहनों की सीमा आदि शामिल रहे। अधिकारियों ने सभी प्रश्नों के स्पष्ट और तथ्यों पर आधारित उत्तर देते हुए यह सुनिश्चित किया कि योजना निवेशकों के लिए व्यावहारिक, पारदर्शी और लचीली है, जिसमें छोटे व मध्यम उद्यमों को विशेष प्राथमिकता दी गई है। BIP अधिकारियों ने प्रवासी निवेशकों के प्रश्नों का उत्तर देते हुए यह भी स्पष्ट किया कि प्रवासी भारतीयों की उद्यमशीलता को स्थानीय विकास से जोड़ना सरकार की प्राथमिकताओं में शामिल है।#breakingnews #news #rajasthannews #currentnews #indianews #politicalnews #newstoday #latestnews #viralnews #todaysnews